tag:blogger.com,1999:blog-888249383229493424.post9109057046039661866..comments2023-10-30T16:58:10.967+05:30Comments on अमीर धरती गरीब लोग: हम तो सदियों से बेहोश हैं क्या बेहोशी दिवस मना रहे हो!Anil Pusadkarhttp://www.blogger.com/profile/02001201296763365195noreply@blogger.comBlogger17125tag:blogger.com,1999:blog-888249383229493424.post-39843912559657016742008-10-17T14:21:00.000+05:302008-10-17T14:21:00.000+05:30सन ४७ के बाद कुछ दिन जगे थे ....उसके बाद से बेहोश ...सन ४७ के बाद कुछ दिन जगे थे ....उसके बाद से बेहोश ही है......सही कहा आपने .डॉ .अनुरागhttps://www.blogger.com/profile/02191025429540788272noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-888249383229493424.post-64619362187784630812008-10-17T13:44:00.000+05:302008-10-17T13:44:00.000+05:30सर जी /आपकी अमीर धरती पर ये गरीब पहले भी आ चुका है...सर जी /आपकी अमीर धरती पर ये गरीब पहले भी आ चुका है /यह लिखकर कि मुझे ""गलतियाँ सूधारने का मौका दें""आपने अपनी महानता प्रर्दशित की है /जहाँ तक आज के लेख का सवाल है होश और बेहोशी की बात पढ़ते वक्त मुझे ऐसा लग रहा था कि लेख बहुत दुःख और गुस्से में लिखा गया है /देखिये अनिल जी जो वेहोश है उसको तो होश में लाने के बहुत उपाय हैं किंतु जो वेहोश होने का प्रदर्शन कर रहा है नाटक कर रहा है उसे होश में नहीं लाया जासकता /लेख की जितनी तारीफ की जाए कम हैBrijmohanShrivastavahttps://www.blogger.com/profile/04869873931974295648noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-888249383229493424.post-42726758516168245042008-10-17T11:54:00.000+05:302008-10-17T11:54:00.000+05:30हैण्ड वाशिंग डे" मनाकर चैन से हाथ-मुंह धो भी नहीं...हैण्ड वाशिंग डे" मनाकर चैन से हाथ-मुंह धो भी नहीं पाए थे कि पता चला आज विश्व बेहोशी (निश्चेतना) दिवस मनाया जा रहा है।<BR/>राजठाकरे चिल्लाता है, अमरसिंह बकवास करता है, लालू यादव बड़बड़ करता है, ममता रोती है, माया धोती है, जया हंसती है, करूणा बेबस है, कृष्णा खामोश है, बुद्धदेव भौंचक्क है, नवीन हताश है, गुलाम, आज़ाद होकर भी गुलाम है। लोग होश में होकर भी बेहोश हैं। ऐसे में साल में सिर्फ एक दिन बेहोशी दिवस मनाना मुझे तो जायज नहीं लगता। आपको क्या लगता है बताईएगा ज़रूर। <BR/>'hmm baat to bde hee pttey kee khee hai, bhut jandaar sval, sirf ek din, sirf or sirf ek din...... sall ke 365 days mey se sirf ek din,kitna injustic hai..."<BR/><BR/>Regardsseema guptahttps://www.blogger.com/profile/02590396195009950310noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-888249383229493424.post-76882885438901003382008-10-17T09:54:00.000+05:302008-10-17T09:54:00.000+05:30सिर्फ एक दिन ???? सारे कुम्भकर्ण खफा हैं ...., अर...सिर्फ एक दिन ???? सारे कुम्भकर्ण खफा हैं ...., अरे छ: माह तो करो अमरीका वाले आका जी ।<BR/><BR/><BR/>हा हा हा, बढिया बेहोश किया भईया ।36solutionshttps://www.blogger.com/profile/03839571548915324084noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-888249383229493424.post-21299734095652968382008-10-17T08:01:00.000+05:302008-10-17T08:01:00.000+05:30अब तो हर दिन ही कोई ना कोई विश्व दिवस होता है -मगर...अब तो हर दिन ही कोई ना कोई विश्व दिवस होता है -मगर इन सब में असली वाला -विश्व खाद्य दिवस एक तरह से अचर्चित हे रह गया और विश्व दिवसों की होड़ में यह तो होना ही था .Arvind Mishrahttps://www.blogger.com/profile/02231261732951391013noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-888249383229493424.post-17388707394452987202008-10-17T07:50:00.000+05:302008-10-17T07:50:00.000+05:30ये जरूर आपके दिमाग की उपज होगी, हमने तो ऐसा दिवस न...ये जरूर आपके दिमाग की उपज होगी, हमने तो ऐसा दिवस ना सुना ना पढ़ा, नननन अब पढ़ लिया। लेकिन बेहोश नगर की बेहोशी बड़ी मदहोशी से सुनायी है, यही सच है।Anonymousnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-888249383229493424.post-78548153631738474872008-10-17T05:07:00.000+05:302008-10-17T05:07:00.000+05:30"कल हुए हाथ धोऊ दिवस को लीजिए! सारे लोग सदियों से ..."कल हुए हाथ धोऊ दिवस को लीजिए! सारे लोग सदियों से बहती गंगा में हाथ धोते आ रहे हैं और ये लोग एक दिन मना रहे हैं। "<BR/>क्या खूब कही है अनिल जी.<BR/><BR/>दीपक का निम्न कथन भी मजेदार रहा:<BR/>"आपने कल हाथ क्या धोया अब तो सब के पीछे हाथ धोकर पड गये है भई!"Smart Indianhttps://www.blogger.com/profile/11400222466406727149noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-888249383229493424.post-74936703131647863062008-10-17T01:17:00.000+05:302008-10-17T01:17:00.000+05:30चलिये आप ने बता तो दिया की बेहोशी दिवस कोई नया नही...चलिये आप ने बता तो दिया की बेहोशी दिवस कोई नया नही हमारे लिये,राजठाकरे चिल्लाता है, अमरसिंह बकवास करता है, लालू यादव बड़बड़ करता है, ममता रोती है, माया धोती है, जया हंसती है, करूणा बेबस है, कृष्णा खामोश है, बुद्धदेव भौंचक्क है, नवीन हताश है, गुलाम, आज़ाद होकर भी गुलाम है। लोग होश में होकर भी बेहोश हैं।<BR/>क्या बात है मुझे तो लगता है आप आज धुलई दिवस भी साथ मै मना रहै है. बह्त सुन्दर<BR/>धन्यवादराज भाटिय़ाhttps://www.blogger.com/profile/10550068457332160511noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-888249383229493424.post-9687458454266766822008-10-16T23:54:00.000+05:302008-10-16T23:54:00.000+05:30आपने कल हाथ क्या धोया अब तो सब के पीछे हाथ धोकर पड...आपने कल हाथ क्या धोया अब तो सब के पीछे हाथ धोकर पड गये है भई!!हा हा हादीपकhttps://www.blogger.com/profile/08603794903246258197noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-888249383229493424.post-67200448708918319392008-10-16T23:06:00.000+05:302008-10-16T23:06:00.000+05:30बहुत कुछ सोचने को मजबूर कर दी आपके इस पोस्ट ने..बहुत कुछ सोचने को मजबूर कर दी आपके इस पोस्ट ने..PDhttps://www.blogger.com/profile/17633631138207427889noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-888249383229493424.post-22918627357114808852008-10-16T20:21:00.000+05:302008-10-16T20:21:00.000+05:30BAHUT KHUB.YEH ATAL H KI TALTA NAHI, ADVANI AAD ME...BAHUT KHUB.<BR/>YEH ATAL H KI TALTA NAHI, ADVANI AAD MEIN SAB KE SAB BEHOSHI DIWAS HI MANYAEGE JAB AAP JIS PARKAR SE JAGATO HO LOG JARUR JAG JAYENGE.<BR/>RAMESH SACHDEVA<BR/>DIRECOTR<BR/>HPS SR. SEC. SCHOOL<BR/>MANDI DABWALIACHARYA RAMESH SACHDEVAhttps://www.blogger.com/profile/16887146368766716881noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-888249383229493424.post-39055602295904401732008-10-16T20:06:00.000+05:302008-10-16T20:06:00.000+05:30बेहोश तो वह हो, जो कभी होश में रहा हो! :(बेहोश तो वह हो, जो कभी होश में रहा हो! :(Gyan Dutt Pandeyhttps://www.blogger.com/profile/05293412290435900116noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-888249383229493424.post-15908189765674167382008-10-16T20:03:00.000+05:302008-10-16T20:03:00.000+05:30बेहोश भी हैं, तुर्रा तो ये कि बेहोशी में भी दौरा आ...बेहोश भी हैं, तुर्रा तो ये कि बेहोशी में भी दौरा आता है.Satyajeetprakashhttps://www.blogger.com/profile/11272982282044450151noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-888249383229493424.post-65179688686525750392008-10-16T19:47:00.001+05:302008-10-16T19:47:00.001+05:30लेकिन बेहोशी से जगाने के लिए चिल्लाना तो पड़ेगा ही...लेकिन बेहोशी से जगाने के लिए चिल्लाना तो पड़ेगा ही .....अब कितने दिनो तक यह कहना मुश्किल है ....इस देश की हालत को देखते हुए।संगीता पुरी https://www.blogger.com/profile/04508740964075984362noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-888249383229493424.post-76507963529444703092008-10-16T19:47:00.000+05:302008-10-16T19:47:00.000+05:30होश में लाने वाली "चिमटी"दार पोस्ट…होश में लाने वाली "चिमटी"दार पोस्ट…Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/02326531486506632298noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-888249383229493424.post-58095711486680841022008-10-16T19:41:00.000+05:302008-10-16T19:41:00.000+05:30BILKUL SAHI KAHA MAHARAJ, HAM LOG TO 24*7*365 BEHO...BILKUL SAHI KAHA MAHARAJ, HAM LOG TO 24*7*365 BEHOSHI WALE HAINभारतीय नागरिक - Indian Citizenhttps://www.blogger.com/profile/07029593617561774841noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-888249383229493424.post-18490330377545892522008-10-16T19:29:00.000+05:302008-10-16T19:29:00.000+05:30राजठाकरे चिल्लाता है, अमरसिंह बकवास करता है, लालू...राजठाकरे चिल्लाता है, अमरसिंह बकवास करता है, लालू यादव बड़बड़ करता है, ममता रोती है, माया धोती है, जया हंसती है, करूणा बेबस है, कृष्णा खामोश है, बुद्धदेव भौंचक्क है, नवीन हताश है, गुलाम, आज़ाद होकर भी गुलाम है। लोग होश में होकर भी बेहोश हैं। ऐसे में साल में सिर्फ एक दिन बेहोशी दिवस मनाना मुझे तो जायज नहीं लगता। आपको क्या लगता है बताईएगा ज़रूर।<BR/><BR/> अनिल भाई आपने धो डाला ! आपके साथ सहमत हूँ ! एक बार दुबारा से पढने आउंगा ये लेख ! बहुत बढिया लगा ! धन्यवाद !ताऊ रामपुरियाhttps://www.blogger.com/profile/12308265397988399067noreply@blogger.com